Apni Edharohar – का उद्देश्य

हमारी डिजिटल लाइब्रेरी के माध्यम से पुस्तकों, लेखों और सांस्कृतिक संसाधनों को विश्वभर में पहुँचाएँ।

राज्य के सर्वांगीण विकास में हम सभी का योगदान संभव हो, उत्तराखण्ड की संस्कृति का संरक्षण व संवर्धन हो सके, इसके साथ-साथ रोजगार, शिक्षा, चिकित्सा तथा कृषि क्षेत्र को बढ़ावा देते हुए सहभागी बनाना।

देवभूमि उत्तराखण्ड की संस्कृति, धार्मिक स्थलों और पारंपरिक शिल्प को संरक्षित व प्रोत्साहित करना। कृषि उत्पादों को बाजार उपलब्ध कराना और कलाकारों व शिल्पकारों को पहचान देकर उनकी कला को रोजगार से जोड़ना।

भाग 3: स्थानीय आवश्यकताओं का दस्तावेजीकरण और समाधान

स्थानीय आवश्यकताओं, उपलब्धता और अभावों की जानकारी एकत्रित कर उन्हें लिपिबद्ध करते हुए तथा उक्त विषयों को उपलब्ध करा कर समय-समय पर शासन व प्रशासन को अवगत कराते हुए उनका समुचित निराकरण एवं समाधान कराने का प्रयास करना।

अपनी धरोहर

अपनी धरोहर न्यास की स्थापना 16 जुलाई 2021 को हरेली पर्व के अवसर पर की गई थी। यह न्यास विभिन्न संस्थाओं को एक मंच पर लाकर उत्तराखंड की सांस्कृतिक, धार्मिक और सामाजिक एकता को मजबूत करने का कार्य कर रहा है। न्यास के अध्यक्ष एवं संस्थापक विजय भट्ट के नेतृत्व में, यह संगठन विभिन्न कार्यक्रमों जैसे महिला सम्मेलन, प्रवासी सम्मेलन, सामूहिक पौधारोपण कार्यक्रम आदि का आयोजन कर चुका है।

यह प्रयास न केवल राज्य की धार्मिक और सांस्कृतिक धरोहर को जीवंत बनाए रखता है, बल्कि लोगों को अपनी जड़ों से जोड़ने का भी कार्य करता है।

क्या है धरोहर?

पहचान, विरासत, संस्कृति, मूल्य

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